Can write creative stories poems and upnayaas in Hindi language....like. "ग़ज़ल"
प्यार अहंकार नहीं
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प्यार अंहकार नहीं-ना कोई है रिश्ता
प्यार दिया मन का-ना कोई है फरिश्ता
सुगंध फूल की-स्वभाव का करिश्मा
प्यार दान है क्यों मांगें-औरों से दानिश्ता
प्यार की सीमा है-सीमा तो दिल है
दो देह के मिलन से प्यार नहीं होता
कुछ ने तो प्यार को-पाप,बन्धन,निंदा कहा
प्यार तन्हा तत्व है-अंहकार को है छोड़ता
..........2)...तेरी वो वफ़ा...
वो आंखों में डुबे भी तो यही सकूं लेकर..
आस पास की लहरों को पता भी न चले
ऐ जमाने वालों ज़हर पीने की तो आदत
उनका नाम लेकर ...
शायद उनको भी एहसास हो गया
अभी जिंदा हूँ, फासले इस दरम्यान
ओर बढ़ गये ये भ्रम लेकर.. ...
चुभने लगे हैं जिनकी आंखों में
आज़ हम कांटों की तरह, जीते थे
कभी हमारा नाम लेकर ...
कांटे जो तेरे दामन में आज़ चुभे हैं
निकले थे कभी हम भी कुछ फूल लेकर..